Saturday, November 2, 2024
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संघ की सेवा

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जनसेवा ही नारायण सेवा आनंद विहार में भीड़ बढ़ी, लोग भूख प्यास से विचलित थे, किसी को नहीं पता था क्या? होगा, ना कोई जात, ना कोई मज़हब बस सबके जहन में एक ही बात गांव जाना है, ऐसे वक्त में संघ के कार्यकर्ता देवदूत बनकर सामने आए. सबसे पहले आनंद विहार बस स्टॉप में संघ कार्यकर्ता पहुंचकर वहाँ से घर जाने को तैयार लोगों की रास्ते में मदद की. उन्हें राशन-पानी और दवाएं आदि मुहैया कराई. ये तो हुई बात आनंद विहार की, लेकिन इसके बाद संघ के कार्यकर्ताओं ने पूरा दिल्ली में वह कर दिखाया, जिसके बाद दिहाड़ी श्रमिक, मजदूर, रेहड़ी वाले, ऑटो, रिक्शा चालकों में कुछ इस तरह भरोसा जगा कि उन्होंने अब दिल्ली से वापस घर जाने की न सिर्फ विचार छोड़ दिया है बल्कि दिल्ली में रहकर ही कोरोना के खिलाफ जंग को मजबूत करेंगे.

बात भोपाल, बैंगलोर, बिहार, उत्तर प्रदेश,ओड़िसा कहीं की भी कर ले तो हर जगह संघ के स्वमसेवक देवदूत या सेवक बनकर तैयार हैं, छोटी से छोटी जगह पहुँचना अपना ख्याल रखते हुए जनसेवा करना, लोगो को खाना, दवाई और जरूरत की हरेक चीज़ों को मुहैया कराना वो भी निस्वार्थ भाव से अपनी जिम्मेदारी को बख़ूबी निभाना यही “संघ की सोच है” संगठन जब बड़ा हो और निस्वार्थ हो तब सबकी जिम्मेदारी बढ़ जाती है और कोरोना से लड़ाई भी अपनी और अपने समाज की जिम्मेदारी उठाने का नया आयाम है।

ना पद की आशा, ना पैसे की लालसा सिर्फ एक सोच “जनसेवा, देश सेवा”, संयोजक हो या स्वमसेवक, प्रचारक हो या स्वमसेवक सब तन मन से इस महामारी से लड़ने के लिए तैयार हैं, दिल्ली हो या सिलीगुड़ी, बंगाल हो या बिहार, बैंगलोर हो या मद्रास स्वमसेवक ना धर्म देखते हैं, ना जात देखते हैं, ना प्रान्त देखते हैं, देखते हैं तो सिर्फ “जनसेवा,राष्ट्रसेवा” स्वमसेवक अपने आप पे हो रहे कटाक्ष को झेलते हुए निरंतर समाज और देश की सेवा में लगे रहते हैं, क्या? होगा इससे बेख़ौफ़, बेसुध ,बेफिक्र सिर्फ अपने लक्ष्य की तरफ अग्रसर वो है जनसेवा।
आज की इस कठिन दौड़ में जहां पूरी दुनिया महामारी से लड़ रही है, हर इंसान एक दूसरे की मदद के लिए ततपर है संघ के स्वमसेवक सिर्फ जिम्मेदारी ही नही लेते बल्कि मार्ग प्रशस्त करती है।

संघ के स्वमसेवक की इस जिम्मेदारी को मेरा साधुवाद और प्रणाम इसलिए मैं अपने शब्दों में कहता हूँ “संघ/RSS सिर्फ संगठन मात्र नही, बदलाव है नए भारत यानी विकसित भारत का।”

गौतम कुमार सिंह।

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