जी हाँ दोस्तों, मुंबई से पचास पचास कोस कि दुरी पर जब बॉलीवुड का कोई नशेडी नशा करने कि सोचता है ना तो उसकी माँ, कहती है बेटे मत कर नहीं तो समीर वानखेडे आ जाएगा।
और कुछ पुराने नशेडी NCB पर इल्जाम लगा रहे हैं। खैर आजकल पूरे भारत में केवल तीन व्यक्तियों का नाम और उनका सद्कर्म ही देश कि जनता के हृदय और मस्तिष्क पर छाए हुए हैं। पहले स्थान पर आदरणीय प्रधानमंत्री जी,दूसरे स्थान पर आदरणीय योगी जी और तीसरे स्थान पर आदरणीय श्री समीर वानखेडे जी।
आज हम श्री समीर वानखेडे जी के साहस, कर्तव्यनिष्ठता, ईमानदारी और राष्ट्रप्रेम के ऊपर बिन्दुवार चर्चा करेंगे।
कर्मण्येवाधिकारस्ते मा फलेषु कदाचन।
मा कर्मफलहेतुर्भूर्मा ते सङ्गोऽस्त्वकर्मणि॥
(द्वितीय अध्याय, श्लोक 47)
कर्म पर ही तुम्हारा अधिकार है, लेकिन कर्म के फलों में कभी नहीं… इसलिए कर्म को फल के लिए मत करो और न ही काम करने में तुम्हारी आसक्ति हो। (यह श्रीमद्भवद्गीता के सर्वाधिक महत्वपूर्ण श्लोकों में से एक है, जो कर्मयोग दर्शन का मूल आधार है और इसी को आधार बनाकर श्री समीर वानखेडे ने अपनी जिन्दगी को दिशा और दशा प्रदान की।
नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) मुंबई के जोनल डायरेक्टर हैं श्री समीर वानखेड़े जी। यहाँँ तक पहुंचने कि पृष्ठभूमि कुछ इस प्रकार है।
वर्ष २००८ में इन्होंने अपनी प्रतिभा, लगन, ईमानदारी से किये गए परिश्रम के बल पर IRS अधिकारी बनने में सफलता प्राप्त की। भारतीय राजस्व सेवा से जुड़ने के पश्चात् श्री समीर वानखेड़े जी को मुंबई के छत्रपति शिवाजी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर डिप्टी कस्टम कमिश्नर के पद पर नियुक्त किया गया। यहाँ समीर वानखेड़े ने अपनी प्रतिभा का अप्रतिम परीचय दिया और सम्बन्धित नियमों और विधियों को सख्ती से लागू किया। उन्होंने छत्रपति शिवाजी इंटरनेशनल एयरपोर्ट को पूर्णतया अनुशासन कि परिधि में बाँध दिया और यँहा पर देश के संविधान का राज कायम कर दिया।
हमारे शास्त्रों में योग्य व्यक्तियों के संदर्भ में सिंह का उदाहरण लेते हुए खा गया है कि:-
नाभिषेको न संस्कारः सिंहस्य क्रियते वने ।
विक्रमार्जितसत्त्वस्य स्वयमेव मृगेंद्रता ॥
सिंह को जंगल का राजा नियुक्त करने के लिए न तो कोई अभिषेक किया जाता है, न कोई संस्कार। अपने गुण और पराक्रम से वह खुद ही मृगेंद्रपद प्राप्त करता है। ठीक इसी प्रकार श्री समीर वानखेडे ने अपनी प्रतिभा व ईमानदारी से अपना मुकाम हासिल किया।
वर्ष 2010 में महाराष्ट्र सेवा कर विभाग में तैनाती के बाद श्री समीर वानखेड़े ने लिए बॉलीवुड की 200 मशहूर हस्तियों समेत 2500 लोगों के खिलाफ टैक्स चोरी के मामले में कार्रवाई की थी अत: बॉलीवुड उनकी धमक कि चमक से चका-चौन्ध था।
श्री समीर वानखेड़े जी के अनुशासन और नियमों को लेकर कठोरता बरतने कि एक जिंदा मिशाल यह है, कि उन्होंने साल 2011 में सोने से बनी क्रिकेट विश्वकप की ट्रॉफी को ड्यूटी चार्ज का भुगतान करने के बाद ही मुंबई हवाई अड्डे से जाने दिया था। वर्ष 2013 में समीर वानखेड़े ने बॉलीवुड गायक मीका सिंह को मुंबई एयरपोर्ट पर विदेशी मुद्रा के साथ पकड़ा था।
श्री समीर वानखेड़े जी के साहस और अपने कर्तव्यों के प्रति समर्पण, लगन, निष्ठा व अनुशासन को देखते हुए उन्हें पहले आंध्र प्रदेश और फिर दिल्ली मे भी विभिन्न महत्वपूर्ण पदों पर नियुक्त किया गया। और इसके पश्चात श्री समीर वानखेड़े की तैनाती नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) मुंबई के जोनल डायरेक्टर तौर पर हुई।
यद्यपि श्री समीर वानखेडे का नाम सरकारी विभागों चर्चा का विषय बना हि रहता था परन्तु सामान्य जनमानस से उनका परिचय स्व सुशांत सिंह राजपूत कि हत्या/आत्महत्या कि पहेली में उलझें केस में NCB के प्रवेश करने के बाद हि हुई। जब रिया चक्रवर्ती, उसके भाई और अन्य संदिग्ध लोगों को खंगाला गया तो ड्रग्स (मादक पदार्थो) का कोण खुल कर सामने आ गया और फिर शुरू हुई सच्ची कहानी श्री समीर वानखेडे और बॉलीवुड के नशेडियों के बीच।
श्री समीर वानखेडे ने बिना किसी कि परवाह किये पूरे साहस और वीरता से ना केवल बॉलीवुड के चप्पलतोड नशेडियों का सामना किया अपितु उनके पीछे खड़े आतंकियों, माफियाओं, चोरों, डकैतों और गुंडों का भी सामना किया। रिया चक्रवर्ती दीपिका पादुकोण, रकुल प्रीत सिंह, भारती सिंह और उसका पति, सैफ अली खान कि बेटी, अरमान कोहली तथा ना जाने कितने छोटे बड़े ड्रग पैडलर को उनकी असली जगह पहुंचाया।
ये रिकार्ड का तथ्य है कि उनके शुरूआती 2 सालों में ही NCB ने करीब 17 हजार करोड़ रुपये के नशे और ड्रग्स बरामद किया। उन्हें केंद्रीय गृह मंत्रालय की तरफ से साल 2021 के उत्कृष्ट जाँच का अवार्ड भी मिल चुका है।
हमारे शास्त्रों में जंहा एक ओर कर्म कि प्रधानता बतलाई गई है वंही दूसरी ओर चरित्र कि सुरक्षा के लिए भी उपदेश दिया गया है जो निम्न प्रकार है:-
वॄत्तं यत्नेन संरक्ष्येद् वित्तमेति च याति च।
अक्षीणो वित्तत: क्षीणो वॄत्ततस्तु हतो हत:॥
अर्थात् : हमेशा अपने चरित्र की रक्षा करनी चाहिए, क्योंकि एक सदाचारी व्यक्ति के लिए चरित्र ही सब कुछ होता है, धन तो आता-जाता रहता है। धन के नष्ट हो जाने उसे पुनः अर्जित किया जा सकता है लेकिन चरित्र के नष्ट हो जाने पर उसे पुनः अर्जित नहीं किया जा सकता वह व्यक्ति समाज में मुंह दिखाने लायक नहीं होता और मरे हुए के समान हो जाता है। श्री समीर वानखेडे ने अपने चरित्र पर आज तक कोई दाग नहीं लगने दिया और अपने उच्च आदर्शों पर आज भी टिके हुए हैं।
महाराष्ट्र में मुंबई (Mumbai) के गोरेगांव इलाके में ड्रग्स पैडलर्स के एक ग्रुप ने वर्ष २०२० में सुशांत सिंह राजपूत के हत्या/आत्महत्या केस में ड्रग्स के दृष्टिकोण से जांच कर रहे और नशेडियों कि नाक में दम कर देने वाले इस वीर मराठा और और इनकी टीम को मिलाकर 5 लोंगो पर जानलेवा आक्रमण कर दिया, इस हमले में NCB के 2 अधिकारी बुरी तरह से जख्मी हो गए हैं। परन्तु इस वीर मराठा सरदार ने हार नहीं मानी।
और आज जबकि २ अक्टूबर २०२१ को शाहरुख़ खान के बेटे आर्यन खान सहित ८ नशेडियों को गिरफ्तार करने के बाद वो इन बड़े बड़े चप्प्लतोद् नशेडियों के साथ साथ कुछ राजीनीति के घिनौने खून चूसने वाले खटमलों के निशाने पर आ गए हैं।
आर्यन खान वाले मामले में अब तक २० लोगों को NCB गिरफ्तार कर चुकी है और कई बड़े सफेदपोश असमाजिक तत्व NCB कि रडार परआ चुके हैं और् उनकी गिरफ्तारी कभी भी हो सकती है, अत: अपना गिरेबान बचाने के लिए इस साहसी मराठा योद्धा श्री समीर वानखेडे को हि घेरना शुरू कर दिया गया है।
और ऐसे असमाजिक तत्वों के लिए खा गया है:-
न विना परवादेन रमते दुर्जनोजन:।
काक:सर्वरसान भुक्ते विनामध्यम न तृप्यति।।
अर्थात् : दुष्ट प्रवृत्ति वाले व्यक्तियों को दूसरों की निंदा किए बिना आनंद नहीं आता है जैसे कौवा सब रसों का भोग करता है परंतु गंदगी भी जाए बिना उससे रहा नहीं जाता है।
आर्यन खान वाले केस के तार विदेशो से भी जुड़े है, जिसमें पाकिस्तान में बैठा भगोड़ा आतंकी दावूद भी हो सकता है। परन्तु दोस्तों यंहा पर ध्यान देने वाली बात ये है कि बार बार मराठी अस्मिता और मराठी माणूस कि हुंकार लगाने वाले शिव सेना और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना अपने हि एक वीर मराठा अधिकारी के बचाव में नहीं आ रही है अपितु गूंगे और बहरे बनकर उसके विरुद्ध साजिश होता देख रहे हैं।
पर हम भारतियों को इस वीर मराठा सरदार पर पूरा भरोसा है ये केवल मुंबई को हि नहीं अपितु पूरे महाराष्ट्र और गोवा को ड्रग्स माफिया के चंगुल से बाहर निकाल लाएगा।
अब तो महानायक से लेकर बादशाह और दबंग तक सभी कहने लगे हैं कि भाई “धुंआ धीरे से उड़ा नहीं तो वानखेडे आ जाएगा और वो अपने बाप कि भी नहीं सुनता।”
श्री समीर वानखेडे इन सभी आठ गुणों से तृप्त व्यक्तित्व का स्वामी है जो निम्न प्रकार दर्शाये गए हैं:-
अष्टौ गुणा पुरुषं दीपयंति प्रज्ञा सुशीलत्वदमौ श्रुतं च।
पराक्रमश्चबहुभाषिता च दानं यथाशक्ति कृतज्ञता च॥
अर्थात् : आठ गुण मनुष्य को सुशोभित करते है – बुद्धि, अच्छा चरित्र, आत्म-संयम, शास्त्रों का अध्ययन, वीरता, कम बोलना, क्षमता और कृतज्ञता के अनुसार दान।
हम सभी महाराष्ट्र मे मराठी मानुष कि अस्मिता को सम्मान देने वाले सभी निवासियों से प्रार्थना करते हैं कि आप सभी अपने वीर मराठा सरदार श्री समीर वानखेडे का साथ दे क्योंकि धर्म और अधर्म के इस युद्ध में धर्म वानखेडे के साथ है, सत्य और असत्य के इस युद्ध में सत्य वानखेडे के साथ है।