लक्ष्मी अग्रवाल के चहरे पर फेके हर उन्मादी #नदीम और उसके जैसे सोच के विरुद्ध जो सभी जुर्म का हिसाब न्यायोचित करेगा,
औऱ वो भी जिसे #साहित्यिक कृतियों बता कर, एक #ऐतिहासिक घटना को राजनीतिक लेप लगा कर छिपा दिया।
पर जिसने माँ पद्मावती को जौहर करने पर मजबूर किया, उस जिहादी #अल्लाउद्दीन_ख़िलजी के कुकर्मों की व्याख्यान पुनः
निडरता से इतिहास करेगा।
हम देखेंगे, लाजिम है कि हम देखेंगे।
भारत माँ के आँचल में आग लगने वाले, सभी पाक परस्त घुसपैठियो और उनके राजनीतिक आकाओं की #अंतिम बर्बादी हमसब इसी #आँखों से देखेगे।
#हम_देखेंगे, लाज़िम है हम देखेंगे, जब खाड़ी देश जलेंगे, मजहबी औऱ कट्टरता के मनोयोग से; सब शरीयत और ज्वलंत तेलों के भंडारण; #तिल्ली के चिंगारी से, स्वतः लपटना चाहेंगे; #जिहादियों_का समूल नाश सम्पूर्ण #धरा से होगा, जैसे #कीट पतंगों का होता है अति और नियति के कारण।
तब नव आदित्य निकलेगा #सब ओर ओजस्वी रस धार बहेगी, फिर सदियों तक #कोई #द्वैष और ईश्या नहीं होगा,
और ना ही #वैमानुष्यता।
हम देखेंगे, लाज़िम है हम देखेंगे
- गणेश शंकर पांडेय
#बाबा